निकाय चुनाव में जमीनी कार्यकर्ताओं को टिकट देकर बीजेपी तैयार करेगी 2024 के लिए जमीन
वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारी में जुटे राजनीतिक
आजमगढ़. वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारी में जुटे राजनीतिक दलों की असली अग्नि परीक्षा निकाय चुनाव में होनी है। राजनीतिक दल इसे तो सत्ता का सेमीफाइनल मान रहे हैं। सपा, प्रसपा, भाजपा निकाय चुनाव पूरी ताकत से लड़ने का दावा कर रही हैं। दावेदार भी सामने आ गए है। इस सब के बीच बीजेपी ने बड़ा फैसला किया है। पार्टी के क्षेत्रीय अध्यक्ष ने दावा किया है कि निकाय चुनाव में बीजेपी अपने जमीनी कार्यकर्ताओं को टिकट देगी और उसका पूरा फोकश बड़ी जीत हासिल कर वर्ष 2024 के लिए जमीन तैयार करना होगा।
बता दें कि निकाय चुनाव दिसंबर माह में होने की संभावना जताई जा रही है। सपा के गढ़ कहे जाने वाले आजमगढ़ में दो नगपालिका और 19 नगर पंचायत हैं। अब तक आजमगढ़ नगरपालिका अध्यक्ष की कुर्सी कभी भी सपा के खाते में नहीं गई है। जबकि पार्टी सारे दाव आजमा चुकी है। इसी तरह मऊ जिले में एक नगरपालिका और दस नगर पंचायत हैं तो बलिया में दो नगरपालिका एवं 10 नगर पंचायत हैं, जहां सपा और बीजेपी में हमेशा कड़ा मुकाबला देखने को मिलता रहा है।
इस चुनाव में परिस्थितियां थोड़ी अलग हैं। विधानसभा चुनाव 2022 में तीनों जिलों में बीजेपी को सपा के हाथों हार का सामना करना पड़ा है तो उपचुनाव में बीजेपी ने आजमगढ़ सीट जीत कर बड़ा मैसेेज देने में सफल रही है। वहीं सपा अभी तक अपनी जिला और ब्लाक कार्यकारिणी का गठन नहीं कर पाई है जो चुनाव में अंतर पैदा कर सकता है। बीजेपी इस मौके को भुनाना चाहती है। साथ ही बीजेपी की कोशिश है कि इस चुनाव में कार्यकर्ताओं की नाराजगी को भी दूर किया जाय।
इसलिए पार्टी ने निकाय चुनाव में जमीनी स्तर पर काम करने वाले पुराने कार्यकर्ता जो चुनाव लड़ना चाहते हैं उन्हें मैदान में उतारने का फैसला किया है। खुद क्षेत्रीय अध्यक्ष धर्मेंद्र सिंह ने कह चुके हैं कि पार्टी निकाय चुनाव पूरी ताकत से लड़ेगी और कार्यकर्ताओं को ही मैदान में उतारा जाएगा। भाजपा के लिए हर चुनाव एक मिशन है। क्षेत्रीय अध्यक्ष के बयान के बाद कार्यकर्ता उत्साहित हैं। टिकट के दावेदारों की संख्या भी बढ़ गई है। ऐसे में प्रत्याशी का चयन बीजेपी के लिए एक बड़ी चुनौती होगी।
